Kulpreet Yadav
कुलप्रीत यादव
नौसेना अधिकारी अकादमी से प्रशिक्षित कुलप्रीत यादव ने दो दशकों तक अधिकारी के रूप में अपनी सेवाएँ प्रदान कीं और अपने व्यावसायिक जीवन में तीन जहाजों की सफलतापूर्वक कमान सँभाली। वर्ष 2014 में भारतीय तटरक्षक बल से कमांडेंट की रैंक से सेवानिवृत्ति के बाद उन्होंने विभिन्न विधाओं में अनेक पुस्तकों का लेखन किया है। गुरुग्राम लिटरेचर फेस्टिवल, 2018 में जासूसी उपन्यास ‘मर्डर इन पहाड़गंज’ के लिए बेस्ट फिक्शन अवार्ड के विजेता, कुलप्रीत एक कलाकार और फिल्म-निर्माता भी हैं।
ए. के. गांधी भारतीय वायुसेना से सेवानिवृत्ति के बाद स्वतंत्र लेखक और अनुवादक के रूप में स्थापित हैं। हिंदी और अंग्रेजी भाषा में उनकी अनेक पुस्तकें प्रकाशित हैं।