Deh Ki Munder Par

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Deh Ki Munder Par

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250.00 188.00

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250.00 188.00

Author: Gagan Gill

Availability: 5 in stock

Pages: 112

Year: 2024

Binding: Paperback

ISBN: 9789360869182

Language: Hindi

Publisher: Rajkamal Prakashan

Description

देह की मुँडेर पर

गगन गिल मानती हैं कि सारा स्त्री-लेखन उन जगहों पर ठिठककर देखने का क्षण है, जहाँ ‘पुरुष लेखक’ तो क्या, शायद ईश्वर भी स्थितियों की साधारणता, अनाटकीयता के कारण नहीं रुकता।

स्त्री की दृष्टि और स्त्री-दृष्टि में फ़र्क़ करते हुए वे कहती हैं कि ज़रूरी नहीं हर स्त्री के पास स्त्री-दृष्टि हो, जिसका नतीजा इस विडम्बना के रूप में सामने आता है कि स्त्री-लेखन का एक बड़ा हिस्सा स्वयं को पुरुष-दृष्टि से परखने का लेखन हो जाता है।

‘देह की मुँडेर पर’ पुस्तक में उनके निबन्ध संकलित हैं। इनमें अधिकांश वे हैं जो उन्होंने विभिन्न परिसंवादों, संगोष्ठियों और साहित्योत्सवों में पढ़े।

कविता, स्त्री, भाषा, साहित्य, स्त्री-विमर्श और पुस्तकों के विषय में चिन्तन करते हुए वे स्त्री होने के अपने वैशिष्ट्य को कभी नहीं भूलतीं, अपनी स्त्री-दृ‌ष्टि को कहीं तिरोहित नहीं होने देतीं। इसलिए इस पुस्तक में संकलित एक निबन्ध में महादेवी को ‘ऋषिका’ कहते हुए वे उनके साहित्य और रचनात्मकता का ऐसा सघन विवेचन कर पाती हैं जिसमें उनकी अपनी दृष्टि की सूक्ष्मता भी सहज ही दिखाई देती है।

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Paperback

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Language

Hindi

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Publishing Year

2024

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