Moonge Ka Dweep

-21%

Moonge Ka Dweep

Moonge Ka Dweep

70.00 55.00

In stock

70.00 55.00

Author: R.M. Valentine Translated Srikant Vyas

Availability: 5 in stock

Pages: 80

Year: 2019

Binding: Paperback

ISBN: 9788174830203

Language: Hindi

Publisher: Rajpal and Sons

Description

मूंगे का द्वीप

बचपन से ही मुझे जहाज में घूमने का बड़ा शौक था। मेरे पिता एक जहाज के कप्तान थे। मेरे दादा भी जहाज में काम किया करते थे। इस तरह हमारे परिवार में यह शौक बड़ा पुराना था।

बचपन में मैं अक्सर अपने गाँव के पास के जंगलों और पहाड़ों में घूमता रहता था और सारी दुनिया में घूमने की योजना बनाया करता था। मैं अक्सर अपने पिताजी से कहता था, ‘‘बाबा, मुझे भी अपने साथ जहाज़ में ले जाया कीजिए। मैं भी जहाज़ चलाना सीखूँगा और देश-विदेश की यात्रा करूँगा।’’

अन्त में मैं जब कुछ बड़ा हुआ तब एक दिन पिता जी ने कहा, ‘‘बेटा राल्फ, अब तुम बड़े हो गए। तुम अक्सर मुझसे जहाज पर चलने के लिए कहते रहे हो मैं भी चाहता हूँ कि तुम एक अच्छे जहाज़ी बनो और समुद्र से प्रेम करना सीखो। मेरा जहाज़ तो बहुत दूर-दूर तक जाता है, इसलिए अभी मैं तुम्हें अपने जहाज़ पर नहीं ले जाऊँगा, लेकिन एक दूसरे जहाज़ में तुम्हारा इन्तजाम कर दूँगा।’’

यह सुनकर मेरी खुशी की सीमा नहीं रही। मैंने तुरन्त यात्रा की तैयारी की। पिताजी मुझे बन्दरगाह ले गए। उन्होंने अपने मित्रों से मेरा परिचय करवाया। फिर एक नौसिखिए जहाज़ी की तरह मुझे एक ऐसे जहाज पर रखवा दिया जो किनारे के आस-पास ही चला करता था।

Additional information

Binding

Paperback

Language

Hindi

Publishing Year

2019

Pulisher

Authors

ISBN

Pages

Reviews

There are no reviews yet.


Be the first to review “Moonge Ka Dweep”

You've just added this product to the cart: