Sanjeevane Vidya Mahamrtyunjay Prayog

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Sanjeevane Vidya Mahamrtyunjay Prayog

Sanjeevane Vidya Mahamrtyunjay Prayog

250.00 249.00

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Author: Yogiraj Yashpal

Availability: 5 in stock

Pages: 191

Year: 2015

Binding: Paperback

ISBN: 0

Language: Hindi

Publisher: Randhir Prakashan

Description

संजीवनी विद्या महामृत्युंजय प्रयोग

दैत्यों के गुरू शुक्रचार्य जी ने महामृत्युंजय उपासना करके जो लाभ अर्जित किया था, उसके फलस्वरूप ही उन्होंने युद्ध में मृत हुये दैत्यों को पुनर्जीवित कर लिया था। इसी करण महामृत्युंजय को संजीवनी विद्या कहा गया है।

इसी महामुत्युंजय की उपासना द्वारा महर्षि मार्कण्डेय ने अपनी लघु आयु को दीर्घ जीवन में परिवर्तित कर लिया था।

प्राण संकट, असाध्य रोग, आक्समिक दुर्घटना, परिवार विघटन, गृह क्लेश और धन के अपव्यय इत्यादि पर नियन्त्रण पाने के लिये यह महामृत्युंजय संजीवनी विद्या का काम करती है।

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Authors

Binding

Paperback

ISBN

Language

Hindi

Pages

Publishing Year

2015

Pulisher

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